section 299 में आपराधिक मानववध को परिभाषित किया गया है । section 300 में उन दशाओ को बताया गया है जबकि कोई आपराधिक मानववध हत्या हो जाता है। किन्तु सेक्शन 300 में ही 5 ऐसे अपवाद दिए गए है जबकि आपराधिक मानववध हत्या होने के बावजूद भी हत्या की श्रेड़ी से बहार उस समय हो जाता है जबकि किया गया कृत्य दिए गए अपवादों में से किसी के अंतर्गत आ जाता है ।
सेक्शन 300 में दिए गए 5 अपवादों में से पहला अपवाद गंभीर और अचानक प्रकोपन से सम्बंधित है । K.M. Nanavati का मामला गंभीर और अचानक प्रकोपन से सम्बंधित है ।
हेल्ड – Supreme Court ने इस मामले में धारित किया की गंभीर और अचानक प्रकोपन का फायदा अभियुक्त को तभी प्राप्त हो सकता है जबकि प्रकोपन से प्रभावित होने के बाद अभियुक्त ने तुरंत मृत्यु कारित कर दिया हो । यदि अभियुक्त प्रकोपन के बाद काफी लम्बे समय तक सोच विचार करता है , रणनीति बनाता है उसके पश्चात हत्या कारित करता है तो वहा पर अभियुक्त सेक्शन 300 के अपवाद 1 का फायदा प्राप्त नहीं कर सकता ।